वर्ग के मुख्य अतिथि एकल अभियान अंचल समिति करौली के अध्यक्ष महेन्द्र सिंह मीना ने उपस्थित आचार्यो को सम्बोधित करते हुए कहा कि " हम देश के,देश हमारा" यह भाव जगायेंगे।
मीना ने कहा कि एकल अभियान पंचमुखी शिक्षा से प्रारंभ हुआ था। शिक्षा के द्वारा जागरूकता का काम हुआ। हमने ग्राम वासियों का विश्वास जीता। इसमें हमें 25 बर्ष का समय लगा। गत 5-6 बर्षों से हम दूसरे चरण में प्रवेश कर रहे है। पांचों योजना की गतिविधि प्रारम्भ हो गई है।
मीना ने कहा कि अब हमारी कार्ययोजना है प्रत्येक संभाग ,भाग फिर अंचल और आगे चलकर संच स्तर तक हम ग्रामोत्थान विधालय स्थापित करेंगे। जिसमें युवा पढाई और कमाई एक साथ सीखेंगे तथा कक्षा 12 तक पढाई कर अपने गांव में ही उपार्जन करने की मानसिकता निर्माण करेंगे।
मीना ने कहा कि एकल अभियान ने ग्रामोत्थान योजना बनाई है इसके लिए ग्रामोत्थान केन्द्र प्रारंभ करेंगे। हमारे गांव के युवा खेती तथा बाकी समय कुछ उत्पादन की कला में निपुण हो यही हमारा सपना है। उसे नगरों में नौकरी में जितना धन मिलेगा और बचत कर पायेगा उससे कहीं अधिक कमाई वह गांव में ही कर सके। हमारी ग्रामीण अर्थव्यवस्था का आधार गौमाता बनेगी। गाय गोबर तथा गौमूत्र ही परिवार के आय का माध्यम बनना चाहिए। जैविक खेती या शून्य बजट प्राकृतिक खेती के अतिरिक्त और कुछ भी स्वीकार नहीं। धरती को रसायन मुक्त बनाना ही हमारा सपना है। हमें ऐसा तंत्र विकसित करेगें जिससे प्रत्येक ग्रामीण के घर की गौमाता का गोबर तथा गौमूत्र प्रतिदिन संग्रह कर उसके उत्पादों के निर्माण की व्यवस्था हो। और उसके उत्पाद से ग्रामीण परिवार को परिवार चलाने लायक आय होगी तथा नगरीय समाज का स्वास्थ्य हानिकारक तत्वों से बचायेंगे। पशुपालन भी ग्रामीण अर्थव्यवस्था का एक महत्वपूर्ण अंग बनेगा। गांव की समृद्धि ही देश की समृद्धि की पहचान बनेगी। ग्राम स्वराज मंच के जिला महामंत्री विजेन्द्र भारद्वाज ने जैविक कृषि ,गौपालन ,स्वालंबन, स्वदेशी वस्तुओं अपनाने की योजना बताई। प्राथमिक शिक्षा प्रमुख संतोष कुमार ने शिक्षण पर प्रकाश डाला । वर्ग का संचालन करणपुर के संच प्रमुख रामावतार शर्मा ने किया।
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